सीरिया और भारत के बीच जंग छिड़ जाए तो कौन पड़ेगा भारी? जानें दोनों की ताकत

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सीरिया के कई शहरों में विद्रोही गुटों का कब्जा हो गया है. वहीं देश का राष्ट्रपति अल-असद देश छोड़कर भाग चुके हैं. इसके साथ ही सीरिया में पांच दशक से साम्राज्य पर कब्जा जमाए असद परिवार के साम्राज्य का अंत हो गया है. सीरिया में गृह युद्ध के चलते स्थिति बदलती जा रही है. ऐसे में सवाल ये उठता है कि यदि सीरिया से भारत की जंग होती है तो कौन सा देश भारी पड़ेगा. दोनों देशों के पास कितनी ताकत है? चलिए इन सवालों के जवाब जानते हैं.

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सीरिया के पास कितनी ताकत है?

सीरिया पश्चिम एशिया में स्थित है, इस देश ने कई दशकों तक संघर्षों का सामना किया है. खासकर 2011 से, जब से वहां गृहयुद्ध शुरू हुआ था. इस युद्ध ने सीरिया की अर्थव्यवस्था और सैन्य ढांचे को बुरी तरह प्रभावित किया है. फिर भी सीरिया के पास एक सशस्त्र सेना है, जिसमें खासतौर से रॉकेट और आर्टिलरी जैसे पारंपरिक हथियारों की बड़ी संख्या है. सीरिया की वायुसेना भी अस्तित्व में है, लेकिन इसकी तकनीकी स्थिति और कार्य क्षमता में पिछले कुछ सालों में कमी आई है. इसके अलावा, सीरिया को रूस, ईरान और हिजबुल्लाह जैसे मित्र देशों का समर्थन मिला है, जो उसे सैन्य सहयोग प्रदान करते हैं.

सीरिया का घरेलू संघर्ष और कई देशों से सैन्य समर्थन उसे स्थिर रखने में मदद करता आ रहा था, लेकिन देश की कुल सैन्य ताकत सीमित है और उसके पास बड़े पैमाने पर आधुनिक हथियारों की भी कमी है. सीरिया की सेना में बहुत से पुराने हथियार हैं, जिनमें ज्यादा पश्चिमी और सोवियत काल के हैं.

भारत के पास कितनी ताकत है?

एशिया का प्रमुख देश भारत अपनी सैन्य ताकत के लिए जाना जाता है. बता दें भारतीय सेना दुनिया की सबसे बड़ी सेनाओं में से एक है और इसके पास अत्याधुनिक हथियार, विमान, रॉकेट और मिसाइल प्रणाली मौजूद है. भारत के पास मिसाइल रक्षा प्रणालियां जैसे कि प्रहार और अग्नि हैं, जो इसे किसी भी दुश्मन के हमले से बचने में मदद करती हैं. भारत की वायुसेना भी बहुत शक्तिशाली है, जिसमें राफेल और सुखोई जैसे अत्याधुनिक लड़ाकू विमान शामिल हैं.

भारत का रक्षा बजट भी काफी बड़ा है और इसने अपने सैन्य क्षेत्र में लगातार निवेश किया है. इसके अलावा, भारत की नौसेना भी हथियारों से लैस है, जो हिंद महासागर क्षेत्र में प्रमुख शक्ति के रूप में मौजूद है. भारत के पास एक मजबूत परमाणु कार्यक्रम भी है, जो इसे वैश्विक राजनीति में एक प्रमुख स्थान दिलाता है. इसके अलावा, भारत के पास अमेरिका, रूस, और अन्य देशों से भी सैन्य सहयोग है.

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भारत और सीरिया के बीछ युद्ध में कौन पड़ेगा भारी?

जाहिर तौर पर भारत के पास सीरिया के मुकाबले कई गुना बड़ी सेना और हथियारों का जखीरा है. ऐसे में यदि दोनों देशों के बीच संघर्ष होता है तो भारत का पड़ला ही भारी पड़ेगा.

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